कैलाश सिंह विकास वाराणसी
भारत सरकार ने डाकघर के बचत खाताधारकों के लिए भी इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर (एन.ई.एफ.टी) की सुविधा आरम्भ कर दी है। इससे किसी भी बैंक के खाते से डाकघर खाते में और डाकघर खाते से बैंक खाते में राशि ऑनलाइन ट्रांसफर हो सकेगी। डाकघर काउण्टर्स, इंटरनेट बैंकिंग अथवा मोबाइल बैंकिंग के जरिए इस सुविधा का लाभ उठाया जा सकता है। काउंटर्स के माध्यम से इस सेवा का लाभ लेने के लिए ग्राहकों का डाकघर में बचत खाता होना चाहिए तथा एन.ई.एफ.टी द्वारा राशि ट्रांसफर के लिए ग्राहकों को एक मैंडेट फॉर्म भरकर काउंटर पर देना होगा। उक्त जानकारी देते हुए वाराणसी परिक्षेत्र के पोस्टमास्टर जनरल श्री कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि डाकघर खातों में धनराशि के ट्रांसफर के लिए देश के सभी डाकघरों के लिए केवल एक ही आई.एफ.एस.सी कोड IPOS0000DOP होगा। पूरे भारत के सभी डाकघरों का एक ही आई.एफ.एस.सी कोड होने से ग्राहकों को प्रत्येक डाकघर का अलग से आई.एफ.एस.सी कोड नहीं ढूँढना पड़ेगा।
पोस्टमास्टर जनरल श्री कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि नेशनल इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर की सुविधा से लोगों को काफी सहूलियत होगी। डाकघरों के लोक भविष्य निधि (पी.पी.एफ) व सुकन्या समृद्धि योजना के खाताधारक अपने इन खातों में बैंक के जरिये एन.ई.एफ.टी द्वारा घर बैठे राशि जमा कर सकते हैं। एन.ई.एफ.टी में राशि ट्रांसफर करने की न्यूनतम सीमा 1 रुपये तथा अधिकतम सीमा 15 लाख है। इंटरनेट बैंकिंग अथवा मोबाइल बैंकिंग के तहत एक दिन में अधिकतम 5 ट्रांजैक्शन तथा प्रति ट्रांजैक्शन अधिकतम 2 लाख रूपये एवं प्रतिदिन 10 लाख रुपये एन.ई.एफ.टी किये जा सकते हैं। पोस्टमास्टर जनरल श्री यादव ने आगे बताया कि दस हजार रूपये तक की एन.ई.एफ.टी के लिए खाताधारकों को 2.50 रूपए व जी.एस.टी देना होगा। दस हजार से एक लाख रूपए तक के लिए यह चार्ज बढकर पाँच रूपए व जी.एस.टी होगा। इसके अलावा एक लाख से दो लाख रूपए तक के लिए 15 रूपए व जी.एस.टी और 2 लाख से अधिक की रकम के लिए 25 रूपए व जी.एस.टी देना होगा। इंटरनेट बैंकिंग अथवा मोबाइल बैंकिंग के तहत यह सुविधा 24 घण्टे मुफ्त में उपलब्ध है।
गौरतलब है कि वित्तीय समावेशन में डाकघरों की अहम भूमिका है। ग्रामीण क्षेत्रों में अभी भी अधिकांश लोगों के खाते डाकघरों में खुले हुए हैं। ऐसे में भारत सरकार द्वारा पोस्ट ऑफिस में भी एन.ई.एफ.टी सुविधा आरम्भ करने से लोगों को काफी सहूलियत होगी।
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