रात का रहस्य
भाग 1: चाँदनी रात की सौगात
सर्दियों की रात थी। हल्की-हल्की चाँदनी खिड़की से छनकर कमरे में आ रही थी। हवाओं में हल्की सी ठंडक थी, लेकिन दिलों में उमड़ता हुआ प्यार माहौल को गर्म कर रहा था।
आरव अपने कमरे में बैठा, किताब के पन्ने पलट रहा था, लेकिन उसकी आँखें बार-बार घड़ी की ओर जा रही थीं। आज की रात खास थी। वह किसी का इंतजार कर रहा था – अपनी ज़िंदगी की सबसे खूबसूरत वजह, महक।
महक और आरव की मुलाकात कॉलेज के दिनों में हुई थी। उनकी दोस्ती धीरे-धीरे प्यार में बदल गई थी। आज, पहली बार आरव ने महक को अपने घर बुलाया था, क्योंकि वह उसे कुछ खास बताना चाहता था।
भाग 2: रात के रहस्य का पर्दा
दरवाजे की घंटी बजी। आरव ने तेजी से दरवाजा खोला। सामने महक खड़ी थी – गहरे नीले रंग की साड़ी में, चाँदनी की तरह दमकती हुई।
"आओ, महक," आरव ने मुस्कुराते हुए कहा।
महक अंदर आई और बालकनी में चली गई। ठंडी हवा चेहरे को छू रही थी, और आसमान में चाँद अपनी चमक बिखेर रहा था।
"क्यों बुलाया मुझे इस वक्त?" महक ने मुस्कुराकर पूछा।
आरव ने कुछ देर तक उसे देखा और फिर धीरे से बोला, "कभी-कभी कुछ बातें रात ही बेहतर समझ सकती हैं। इस रात का एक रहस्य है, जिसे मैं तुम्हारे साथ बाँटना चाहता हूँ।"
महक ने चौंककर उसकी ओर देखा। "कैसा रहस्य?"
भाग 3: दिल की गहराइयों से
आरव थोड़ा गंभीर हो गया। "तुम्हें पता है, महक, मैं जब भी तुम्हारे साथ होता हूँ, दुनिया की हर चीज़ बेमानी लगती है। मैं तुम्हारे साथ अपनी पूरी ज़िंदगी बिताना चाहता हूँ।"
महक की आँखों में चमक आ गई, लेकिन उसने खुद को शांत रखा। "और इस रात का रहस्य?"
आरव ने जेब से एक छोटा सा मखमली डिब्बा निकाला और उसके सामने खोल दिया। अंदर एक खूबसूरत अंगूठी चमक रही थी।
"महक, क्या तुम मेरी ज़िंदगी का हिस्सा बनोगी?"
महक की आँखों में नमी थी। वह कुछ बोल नहीं पाई, लेकिन उसकी मुस्कान ने सब कुछ कह दिया। उसने धीरे से हाथ बढ़ाया और अंगूठी पहन ली।
आरव ने उसे करीब खींचते हुए कहा, "यह रात सिर्फ एक रहस्य नहीं, बल्कि हमारी नई ज़िंदगी की शुरुआत है।"
भाग 4: बारिश की हल्की बूँदें और प्यार की सौगंध
तभी अचानक बादल गरजे और हल्की बूंदें गिरने लगीं। महक और आरव भागकर अंदर आए।
कमरे की रोशनी मंद थी। हवा में सिर्फ इत्र की हल्की खुशबू थी।
महक ने हल्के से आरव के कंधे पर सिर रखा और कहा, "यह रात हमेशा के लिए यादगार रहेगी। मैं तुम्हारे साथ हर पल बिताना चाहती हूँ, हर रात, हर दिन।"
आरव ने उसे अपने आगोश में लेते हुए फुसफुसाया, "मैं भी तुम्हें हमेशा के लिए अपने पास रखना चाहता हूँ।"
भाग 5: रात का रहस्य और प्यार का अंजाम
रात गहरी हो रही थी, लेकिन उनके दिलों की धड़कनें तेज़ हो रही थीं। आरव और महक ने एक-दूसरे की आँखों में झाँका और महसूस किया कि इस रात का सबसे बड़ा रहस्य उनका अटूट प्यार था।
रात का जादू बस शुरू हुआ था…